देवघर। राज्य निर्वाचन आयोग आगामी निकाय चुनावों को बैलेट पेपर (Ballot Paper) से कराने की तैयारी में जुट गया है। आयोग ने सभी जिलों को निर्देश जारी करते हुए कहा है कि मतदान और मतगणना के लिए पर्याप्त संख्या में काउंटिंग हॉल (Counting Hall) और टेबल की व्यवस्था समय रहते सुनिश्चित की जाए।
आयोग के सचिव रघुनाथ प्रसाद ने मार्च 2025 में ही सभी जिलों को इस संबंध में दिशा-निर्देश भेजे थे, जिसमें कहा गया था कि निकाय चुनाव के लिए पारंपरिक बैलेट वोटिंग प्रक्रिया अपनाई जा सकती है। इस क्रम में अब देवघर और मधुपुर नगर निकायों में तैयारियां शुरू कर दी गई हैं।
देवघर कॉलेज और मधुपुर महिला कॉलेज होंगे काउंटिंग स्थल
देवघर नगर निगम के लिए देवघर कॉलेज को मुख्य काउंटिंग स्थल बनाया जाएगा। वहीं, मधुपुर नगर परिषद चुनाव की मतगणना मधुपुर महिला कॉलेज में होगी। दोनों जगहों पर मतगणना के लिए कुल 14-14 काउंटिंग टेबल तैयार करने का प्रस्ताव दिया गया है।
देवघर नगर निगम में मतगणना 12 राउंड में पूरी होगी, जबकि मधुपुर नगर परिषद में चार राउंड में काउंटिंग प्रक्रिया समाप्त की जाएगी। मतपेटियों की सुरक्षा के लिए अलग-अलग स्ट्रांग रूम की व्यवस्था भी की जाएगी, ताकि पुनर्मतदान की स्थिति में किसी तरह की परेशानी न हो।
1.80 लाख मतदाता करेंगे देवघर में मतदान
देवघर नगर निगम में कुल 1,80,691 मतदाता इस बार अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे। वहीं, मधुपुर नगर परिषद में 47,204 मतदाता मतदान में भाग लेंगे। देवघर नगर निगम क्षेत्र में 160 बूथ, जबकि मधुपुर नगर परिषद में 46 बूथ बनाए जाएंगे।
आयोग ने समय सीमा तय की
आयोग ने यह भी स्पष्ट किया है कि यदि मतदान बैलेट पेपर से कराया जाता है, तो मतगणना में अपेक्षाकृत अधिक समय लग सकता है। ऐसे में आयोग ने निर्देश दिया है कि किसी भी स्थिति में दो दिनों के भीतर मतगणना कार्य पूरा किया जाए।
इसके साथ ही आयोग ने कहा है कि पुनर्मतदान की स्थिति में मतपेटियों को सुरक्षित रखने के लिए अलग स्ट्रांग रूम (Strong Room) की व्यवस्था होनी चाहिए। इस प्रस्ताव पर स्थानीय प्रशासन ने भी अपनी सहमति जताई है।
बैलेट पेपर से चुनाव कराने पर क्यों विचार?
ज्ञात हो कि पिछले कुछ वर्षों में कई स्थानों पर ईवीएम (EVM) में तकनीकी दिक्कतें आने की शिकायतें दर्ज की गई थीं। इस कारण राज्य निर्वाचन आयोग ने पारदर्शिता और मतगणना की सरलता को ध्यान में रखते हुए बैलेट पेपर से मतदान की संभावना पर गंभीरता से विचार किया है।
आयोग के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, “बैलेट वोटिंग से मतदाताओं का भरोसा बढ़ता है और स्थानीय निकायों में मतदान प्रक्रिया अधिक पारदर्शी बनती है।”
देवघर और मधुपुर में जोर-शोर से तैयारी
देवघर कॉलेज में काउंटिंग हॉल की तैयारी को लेकर कॉलेज प्रशासन और नगर निगम के अधिकारी संयुक्त रूप से निरीक्षण कर रहे हैं। मतगणना कक्षों में बिजली, वेंटिलेशन और सुरक्षा के पूरे इंतजाम किए जा रहे हैं।
मधुपुर महिला कॉलेज में भी मतगणना हॉल की मरम्मत और सफाई कार्य चल रहा है। दोनों स्थानों पर सीसीटीवी कैमरे लगाने का भी प्रस्ताव दिया गया है।
स्थानीय प्रशासन ने भी कसी कमर
देवघर के नगर आयुक्त ने बताया कि बैलेट पेपर से मतदान कराने के निर्णय पर अंतिम मुहर राज्य निर्वाचन आयोग के स्तर पर लगेगी। जैसे ही अधिसूचना जारी होगी, प्रशिक्षण सत्र, पोलिंग बूथ की पहचान, सुरक्षा योजना और मतदान कर्मियों की तैनाती पर काम शुरू कर दिया जाएगा।
मधुपुर के कार्यपालक पदाधिकारी ने कहा कि मतदाताओं की सुविधा के लिए बूथों पर शौचालय, पेयजल और रैंप की व्यवस्था की जा रही है ताकि दिव्यांग मतदाता भी आसानी से मतदान कर सकें।
सुरक्षा व्यवस्था होगी कड़ी
मतगणना स्थलों पर सुरक्षा के लिए पर्याप्त पुलिस बल तैनात किया जाएगा। संवेदनशील बूथों की पहचान कर वहां अतिरिक्त फोर्स की तैनाती की जाएगी। साथ ही स्ट्रांग रूम की सुरक्षा सीसीटीवी कैमरे और 24 घंटे निगरानी टीमों द्वारा सुनिश्चित की जाएगी।
अंतिम निर्णय अधिसूचना के बाद
राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से कहा गया है कि बैलेट पेपर से चुनाव कराने पर अंतिम निर्णय अधिसूचना जारी होने के बाद लिया जाएगा। आयोग फिलहाल सभी जिलों से रिपोर्ट मंगा रहा है ताकि काउंटिंग हॉल, मतपेटी, बैलेट पेपर प्रिंटिंग आदि व्यवस्थाओं का मूल्यांकन किया जा सके।
यदि सभी व्यवस्थाएं समय पर पूरी हो जाती हैं, तो इस बार झारखंड में नगर निकाय चुनाव बैलेट पेपर से कराए जा सकते हैं — जो लंबे समय बाद एक बड़ा बदलाव होगा।
