
चिराग पासवान ने एनडीए से अलग होने की अफवाहों का खंडन किया – कहा, “जब तक मोदी हैं, इस बात की सोच भी नहीं सकता”
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के नेता और केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने एक चैनल इंटरव्यू को लेकर फैली अफवाहों को पूरी तरह निराधार बताया; विपक्ष पर लगाए विभाजन की राजनीति के आरोप
पटना, 15 अगस्त 2025 — लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष एवं केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने एनडीए से अलग होने की खबरों पर सफाई देते हुए कहा, “यह पूरी तरह अफवाह है और इसका सच से कोई लेना-देना नहीं है। जब तक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं, एनडीए से अलग होने का सवाल ही मेरे जहन में आना संभव नहीं है।”
बीते 14 अगस्त शाम एक स्थानीय चैनल को दिए गए इंटरव्यू के बाद समाचार जगत और राजनीतिक गलियारे में यह हलचल मची कि चिराग पासवान ने अकेले बिहार की 243 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है । इस खबर ने तत्काल सियासी अटकलों को हवा दी।
चिराग पासवान की सफाई
चिराग पासवान नई दिल्ली से पटना लौटते ही पटना एयरपोर्ट पर मीडिया से मुखातिब होते हुए स्पष्ट रूप से बोले:
> “मैंने ऐसा कभी बयान नहीं दिया। कुछ लोग हमें एनडीए से अलग दिखाने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन जब तक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं, ऐसी बात हो ही नहीं सकती।”
उन्होंने यह भी कहा कि उनके बयान को तोड़मरोड़कर पेश किया गया, और यह अफवाहें विपक्ष द्वारा राजनीतिक लाभ के लिए फैलाई जा रही हैं ।
उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि:
> “विपक्ष जानता है कि जब तक एनडीए एकजुट है, सत्ता में आना संभव नहीं है। इसलिए वे ऐसे किसी भी प्रयास में लगे रहते हैं कि कोई दरार दिखाई दे।”
साथ ही, सीट बंटवारे के संबंध में उन्होंने कहा कि अभी तक इस विषय पर गठबंधन के भीतर कोई चर्चा नहीं हुई है, और जब भी होगी, निर्णय संयुक्त रूप से लिया जाएगा ।
विपक्ष की रणनीति या भ्रम फैलाव? (Opposition’s Strategy or Misinformation?)
चिराग पासवान ने विपक्षी दलों पर आरोप लगाया कि वे राज्य में 2020 जैसा हाल फिर से बनाना चाहते हैं—मार्फत उनके द्वारा फैलाए गए अटकलों और अफवाहों—ताकि NDA से दूरी दिखाकर उनकी राह आसान हो सके ।
राजनीतिक संदर्भ और हाल के घटनाक्रम (Political Context & Recent Developments)
हाल ही में एक रिपोर्ट में बताया गया कि LJP (रामविलास) के 139 नेताओं ने इस्तीफा दे दिया, भ्रष्टाचार और पैसे वसूलने का आरोप लगाते हुए। हालांकि, इस्तीफा देने वाले नेताओं ने स्पष्ट किया कि वे अभी भी NDA के साथ बने रहेंगे ।
इससे पहले चिराग पासवान ने कानून-व्यवस्था पर सवाल उठाए थे, जिससे भाजपा के कुछ वरिष्ठ नेता नाखुश दिखाई दिए और राजनीतिक दूरी की अफवाहें मजबूत हुईं ।
ये संकेत बताते हैं कि चुनावी रणनीति और गठबंधन निर्माण के क्रमिक बदलावों के बीच कई स्तरों पर चर्चा और संशय की स्थिति बनी हुई है।
1. साफ-साफ खंडन
चिराग पासवान का स्पष्ट बयान—”जब तक मोदी हैं, NDA से अलग होने का सवाल ही नहीं उठता”—सॉलिड पोजिशन बताता है ।
2. राजनीतिक रणनीति
यह स्पष्ट है कि विपक्ष इस संदेश को जनता में फैलाने का प्रयास कर रहा है कि NDA में दरार है, ताकि उसका राजनीतिक लाभ हो ।
3. फिनिशिंग टच
एक ओर जहां LJP के कुछ नेताओं का इस्तीफा सियासी असंतोष का संकेत है, वहीं उन्होंने स्पष्ट किया है कि NDA के साथ उनकी निष्ठा बरकरार है।
4. गठबंधन की गतिशीलता
सीट बंटवारे और चुनावी रणनीति पर अभी तक NDA में किसी भी प्रकार का अंतिम निर्णय नहीं हुआ है—यह गठबंधन प्रक्रिया की जारी प्रकृति को दर्शाता है ।
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने एनडीए से अलग होने की खबरों को पूरी तरह निराधार और अफवाह करार देते हुए कहा है कि जब तक नरेंद्र मोदी उनके प्रधानमंत्री रहेंगे, तब तक उनके लिए गठबंधन से अलग होना संभव नहीं है। उन्होंने विपक्ष पर आरोप लगाया कि वे धोखाधड़ीपूर्ण प्रचार से लोगों में भ्रम फैला रहे हैं, ताकि NDA को कमजोर दिखाया जा सके।