
गुलाबी नगरी जयपुर एक बार फिर दुनियाभर के पर्यटकों के दिलों पर राज कर रही है। वर्ल्ड्स बेस्ट सिटीज 2025 की प्रतिष्ठित सूची में जयपुर ने 5वां स्थान हासिल किया है। इस सूची में भारत के किसी और शहर को इतनी ऊंची रैंकिंग नहीं मिली। जयपुर की यह उपलब्धि न केवल इसकी समृद्ध संस्कृति, शाही इतिहास और राजस्थानी परंपरा का प्रमाण है, बल्कि भारत के पर्यटन सेक्टर के लिए भी एक बड़ी कामयाबी है।
संस्कृति, विरासत और मेहमाननवाजी ने दिलाया सम्मान:
जयपुर को यह मान्यता इसके ऐतिहासिक महत्व, विविध सांस्कृतिक विरासत, अनोखी वास्तुकला, बेहतरीन खानपान और अतिथि सत्कार की परंपरा के चलते मिली है। ट्रैवल + लीजर द्वारा जारी की गई इस सूची में जयपुर को 91.33 स्कोर मिला है, जिससे यह इटली के मशहूर पर्यटन शहर फ्लोरेंस को भी पीछे छोड़ने में सफल रहा।
साल 2025 की यह रैंकिंग उन शहरों को दी गई है, जो पर्यटकों के अनुभव, स्थानीय जीवनशैली, आकर्षणों, खरीदारी, खानपान और समग्र पर्यटन व्यवस्था के लिहाज से सर्वश्रेष्ठ माने गए।
भारत का गौरव बना जयपुर:
जयपुर का यह स्थान भारत के लिए गर्व की बात है। इससे पहले वर्ल्ड टूरिज्म इंडेक्स में भारत के अलग-अलग शहरों को शामिल किया गया, लेकिन पहली बार जयपुर को विश्वस्तरीय टॉप 5 शहरों की सूची में जगह मिली है। यह उस दिशा में एक बड़ा कदम है जहां भारत के ऐतिहासिक शहर वैश्विक मंच पर अपनी पहचान और प्रभाव बना रहे हैं।
क्यों खास है जयपुर?
जयपुर, जिसे गुलाबी शहर के नाम से जाना जाता है, 1727 में महाराजा सवाई जय सिंह द्वितीय द्वारा बसाया गया था। शहर की हर गली, हर इमारत, हर रंग में इतिहास की झलक मिलती है।
यहां कुछ प्रमुख स्थल जो जयपुर को खास बनाते हैं:
आमेर का किला: पहाड़ियों पर बना यह भव्य किला स्थापत्य कला और भव्यता का जीवंत उदाहरण है।
हवा महल: 953 झरोखों से सजी यह पांच मंजिला इमारत जयपुर की पहचान बन चुकी है।
सिटी पैलेस: शाही परिवार का निवास स्थान होने के साथ-साथ यह संग्रहालय और ऐतिहासिक दस्तावेजों का घर भी है।
जल महल: पानी के बीचोंबीच स्थित यह महल पर्यटकों को अद्भुत अनुभव देता है।
रंग-बिरंगे बाजार: जौहरी बाजार, बापू बाजार और त्रिपोलिया बाजार जैसे स्थानों पर पारंपरिक राजस्थानी कपड़े, गहने और हस्तशिल्प मिलते हैं।
खानपान में भी अव्वल:
जयपुर के लज़ीज व्यंजन भी इसकी लोकप्रियता का बड़ा कारण हैं। दाल-बाटी-चurma, घेवर, केर सांगरी, लहसुन की चटनी, मावा कचौड़ी जैसे पारंपरिक स्वाद दुनियाभर के सैलानियों को आकर्षित करते हैं।
रॉयल हॉस्पिटैलिटी ने दिल जीता:
जयपुर की मेहमाननवाजी, जिसे स्थानीय भाषा में ‘पधारो म्हारे देश’ कहा जाता है, दुनिया भर के पर्यटकों को प्रभावित करती है। आलीशान हवेलियां, हैरिटेज होटल्स और स्थानीय लोगों का गर्मजोशी से स्वागत करना इसकी पहचान बन चुका है। यही वजह है कि जयपुर न केवल घूमने बल्कि डेस्टिनेशन वेडिंग और लक्ज़री ट्रैवल के लिए भी पसंदीदा बन गया है।
पर्यटन मंत्रालय और स्थानीय प्रशासन की भूमिका:
जयपुर की इस उपलब्धि में राजस्थान पर्यटन विभाग और स्थानीय प्रशासन की योजना और प्रयासों का भी बड़ा योगदान रहा है। बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर, क्लीन सिटी ड्राइव, डिजिटल गाइडेंस और हेरिटेज साइट्स की सुरक्षा जैसे कदमों ने इस शहर को विश्वस्तरीय पर्यटन स्थल बनाने में मदद की।
इस सम्मान से जयपुर की अंतरराष्ट्रीय छवि और मजबूत हुई है। विदेशों से आने वाले पर्यटकों की रुचि अब जयपुर की ओर और बढ़ेगी। इससे राज्य की अर्थव्यवस्था को भी फायदा पहुंचेगा। साथ ही यह भारत को एक ‘ग्लोबल टूरिज्म हब’ के रूप में स्थापित करने की दिशा में मजबूत कदम साबित होगा।
राजस्थान सरकार आने वाले समय में जयपुर के अन्य हेरिटेज स्पॉट्स को भी प्रमोट करने की योजना बना रही है। इसके तहत नाइट टूरिज्म, डिजिटल हेरिटेज मैप, ई-गाइड, लोक संगीत कार्यक्रम और इंटरनेशनल फेस्टिवल्स की संख्या बढ़ाई जाएगी, जिससे जयपुर पर्यटन के नए कीर्तिमान स्थापित कर सके।
जयपुर ने साबित कर दिया है कि भारतीय विरासत और संस्कृति की चमक आज भी पूरी दुनिया को आकर्षित कर सकती है। वर्ल्ड्स बेस्ट सिटीज 2025 की इस सूची में 5वें स्थान पर आना केवल एक आंकड़ा नहीं, बल्कि यह एक भाव है – उस शहर का, जो परंपरा और आधुनिकता का बेहतरीन संगम है। जयपुर न सिर्फ घूमने का, बल्कि ‘जीने’ का अनुभव देता है – और यही बात इसे एक ‘Must Visit City’ बनाती है।